केंद्रीय पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय ने विश्व पर्यावरण दिवस 2025 के उपलक्ष्य में ‘One Nation, One Mission: End Plastic Pollution’ अभियान की शुरुआत की है। यह अभियान मिशन लाइफ (पर्यावरण के लिए जीवन शैली) के साथ संरेखित है और प्लास्टिक प्रदूषण के खिलाफ देशव्यापी जन-आंदोलन को बढ़ावा देता है।
केंद्रीय पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्री भूपेंद्र यादव ने आज इस अभियान का शुभारंभ किया। अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के माध्यम से एक प्रेरक वीडियो जारी करते हुए उन्होंने सभी नागरिकों से प्लास्टिक प्रदूषण को समाप्त करने के लिए टिकाऊ जीवन शैली अपनाने और जागरूकता से लेकर सामूहिक कार्रवाई की दिशा में कदम उठाने का आह्वान किया।
मंत्री भूपेंद्र यादव ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पे जारी किया हुआ वीडियो…..
विश्व पर्यावरण दिवस, जो हर साल 5 जून को मनाया जाता है, इस बार ‘‘Say No to Single Use Plastic’ थीम के साथ पर्यावरण संरक्षण के लिए वैश्विक मंच के रूप में कार्य करेगा।
प्लास्टिक प्रदूषण आज वैश्विक स्तर पर एक गंभीर चुनौती बन चुका है। संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण कार्यक्रम (UNEP) के अनुसार, हर साल 400 मिलियन टन से अधिक प्लास्टिक का उत्पादन होता है, जिसका बड़ा हिस्सा पर्यावरण को नुकसान पहुंचाता है। भारत में भी प्लास्टिक कचरे का बढ़ता स्तर समुद्र, नदियों और शहरों के लिए खतरा बन रहा है। इस अभियान के तहत सरकार ने कई लक्ष्य निर्धारित किए हैं: प्लास्टिक प्रदूषण के बारे में जागरूकता बढ़ाना। सिंगल यूज़ प्लास्टिक के उत्पादन और उपयोग में कमी लाना। कचरे के पृथक्करण, संग्रहण और रीसाइक्लिंग को बढ़ावा देना। टिकाऊ और पर्यावरण-अनुकूल विकल्पों को प्रोत्साहित करना।
इस अभियान के तहत देशभर में विभिन्न गतिविधियों का आयोजन किया जा रहा है। इनमें सोशल मीडिया अभियान, नुक्कड़ नाटक, स्वच्छता अभियान, स्कूलों में प्रदर्शनियां, और रीसाइक्लिंग पर कार्यशालाएं शामिल हैं। समुद्र तटों, नदियों, पार्कों, और ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छता अभियान चलाए जा रहे हैं। स्थानीय निकाय, शैक्षिक संस्थान, उद्योग, और सामुदायिक समूह इस अभियान में सक्रिय भागीदारी निभा रहे हैं।
उदाहरण के लिए, गुजरात के वापी GIDC में ‘एंडिंग प्लास्टिक पॉल्यूशन’ अभियान के तहत प्लॉगिंग और शपथ ग्रहण कार्यक्रम आयोजित किया जाता है। जिसमें गुजरात प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (GPCB) के अधिकारियों और स्थानीय समुदाय हिस्सा लेते है।
लेकिन इस सकारात्मक पहल के बावजूद, पर्यावरण प्रदूषण की गंभीरता को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता। विशेषज्ञों का कहना है कि प्लास्टिक प्रदूषण न केवल पर्यावरण, बल्कि मानव स्वास्थ्य और जैव विविधता के लिए भी खतरा है। सरकार की ओर से कड़े नियम और नीतियां लागू की जा रही हैं, लेकिन कुछ औद्योगिक इकाइयों और व्यक्तियों द्वारा नियमों की अनदेखी की निंदा की जा रही है।
पर्यावरणविदों ने चेतावनी दी है कि अगर समय रहते प्रभावी कदम नहीं उठाए गए, तो प्लास्टिक प्रदूषण की समस्या और गंभीर हो सकती है। पर्यावरण संरक्षण केवल सरकार की जिम्मेदारी नहीं है। यह हम सभी की सामूहिक जवाबदेही है।
सरकार ने मिशन लाइफ के तहत लोगों को पर्यावरण-अनुकूल आदतें अपनाने के लिए प्रेरित किया है, जैसे कि कपड़े के थैले का उपयोग, प्लास्टिक कचरे का पुनर्चक्रण, और डिस्पोजेबल प्लास्टिक से परहेज। मंत्रालय ने सभी हितधारकों – मंत्रालयों, राज्य सरकारों, स्थानीय निकायों, और नागरिकों – से इस अभियान में हिस्सा लेने और अपनी गतिविधियों को ‘Meri LiFE’ पोर्टल पर अपलोड करने का आग्रह किया है।
यह अभियान न केवल जागरूकता फैलाने का प्रयास है, बल्कि एक ऐसी जीवन शैली को बढ़ावा देता है जो पर्यावरण के प्रति संवेदनशील हो। हमारी धरती का भविष्य हमारी सामूहिक कार्रवाइयों पर निर्भर है। सरकार की यह पहल सराहनीय है, लेकिन हमें व्यक्तिगत स्तर पर भी अपनी जिम्मेदारी निभानी होगी।
Plastic प्रदूषण के खिलाफ इस लड़ाई में आप भी शामिल हों, और अपने आसपास के लोगों को प्रेरित करें। अधिक जानकारी के लिए मंत्रालय की वेबसाइट या ‘Meri LiFE’ पोर्टल पर जाएं।
Source PIB….